डिजिटल जन्म और मृत्यु प्रमाण पत्र: बिहार सरकार ने जन्म और मृत्यु प्रमाण पत्र को लेकर एक नया Bihar Digital Certificate Rules लागू किया है इस नियम के अनुसार अब नागरिकों को यह सर्टिफिकेट बनवाने के लिए महीना भर सरकारी कार्यालय के चक्कर नहीं काटने पड़ेंगे क्योंकि अब यह प्रमाण पत्र पंचायत स्तर पर ही उपलब्ध करवाए जाएंगे जो की पूरी तरह से डिजिटल रूप में होंगे इस नियम को लागू करने के कारण ग्रामीण क्षेत्र में रहने वाले निवासियों को आसानी से सरकारी नियम का लाभ मिल सकेगा
बता दें कि बिहार सरकार के द्वारा जारी किए गए इस नए नियम को “बिहार जन्म और मृत्यु रजिस्ट्रीकरण नियमावली, 2025” दिया गया है, जो 1999 के पुराने नियमों की जगह लेगी। इस नियम के अंतर्गत हर पंचायत सचिव को Bihar Janm Mrityu Praman Patra का पंजीकरण करने और डिजिटल प्रमाण पत्र जारी करने की ज़िम्मेदारी सौंपी गई है। अब नागरिकों को केवल अपना आधार, मोबाइल नंबर और आवश्यक जानकारी के साथ अपने नजदीकी पंचायत में जाना होगा और वहां से ऑनलाइन आवेदन फॉर्म भरना होगा आवेदन फॉर्म भरने के बाद कुछ समय में ही डिजिटल सर्टिफिकेट प्राप्त हो जाएगा
पंचायत सचिव को मिली डिजिटल जन्म और मृत्यु प्रमाण पत्र जारी करने की ज़िम्मेदारी
बताते चलें कि इस नियम में सबसे बड़ा बदलाव यह किया गया है कि अब जन्म और मृत्यु प्रमाण पत्र पंचायत सचिव ही जारी करेंगे, इससे पहले नागरिकों को बीडीओ या जिला स्तर के अधिकारी के पास जाना पड़ता था, जिससे प्रक्रिया मुश्किल और समय लेने वाली हो जाती थी लेकिन अब यह कार्य स्थानीय स्तर पर होने से ग्रामीण जनता को अधिक फायदा होगा
सरकार के द्वारा जारी किए गए इस नियम के अनुसार पंचायत सचिव को ई-पंजीकरण की ट्रेनिंग दी जाएगी और उन्हें डिजिटल पोर्टल की पूरी जानकारी दी जाएगी यह सुनिश्चित किया जाएगा कि हर पंचायत कार्यालय में इंटरनेट, कंप्यूटर और प्रिंटर जैसी सभी जरूरी सुविधाएं उपलब्ध हों
दरअसल इस नए नियम को लागू करके बिहार सरकार यह चाहती है कि प्रमाण पत्र समय पर, पारदर्शी और भ्रष्टाचार मुक्त तरीके से नागरिकों को मिल सके, अब नया बनने वाले प्रमाण पत्र में डिजिटल हस्ताक्षर और क्यूआर कोड भी होंगे जिससे उनकी वैधता को तुरंत ऑनलाइन ही चेक किया जा सकेगा
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जन्म प्रमाण पत्र के लिए अब केवल 3 स्तर पर होगी प्रक्रिया
अब जन्म प्रमाण पत्र प्राप्त करने के लिए नागरिकों को केवल तीन चरणों का का पालन करना होगा, जो पूरी तरह स्पष्ट और साफ है
- पहली स्थिति में, यदि कोई जन्म 30 दिन के भीतर रिपोर्ट किया जाता है, तो पंचायत सचिव तुरंत प्रमाण पत्र जारी कर देंगे
- दूसरी स्थिति में, अगर 30 दिन से 1 साल के भीतर रिपोर्ट किया गया, तो प्रखंड सांख्यिकी पदाधिकारी की सिफारिश के बाद प्रमाण पत्र मिलेगा
- तीसरी स्थिति में, 1 साल से अधिक समय बीतने पर बीडीओ कार्यालय से प्रक्रिया पूरी करनी होगी
बताते चलें की सरकार में यह नियम इस लिए बनाया है कि जो भी बच्चों के माता-पिता है और उन्हें बच्चों के लिए किसी भी जरूरी प्राइवेट या सरकारी संस्थान के लिए यदि दस्तावेज की आवश्यकता है तो ऐसी स्थिति में वह सही समय पर सही जगह पर जाकर प्रमाण पत्र के लिए आवेदन कर सकें
मृत्यु प्रमाण पत्र के लिए अब नहीं लगाने होंगे दफ्तरों के चक्कर
मृत्यु प्रमाण पत्र को लेकर भी सरकार ने Death Certificate Bihar का नया नियम लागू किया है जिसके अनुसार यदि आप किसी का मृत्यु प्रमाण पत्र बनवाना चाहते हैं तो व्यक्ति की मृत्यु के 21 दिनों के भीतर पंचायत सचिव को देनी होगी और वे ही प्रमाण पत्र जारी करेंगे पहले यह कार्य नगर निकाय, सीएचसी या अन्य उच्च स्तर के कार्यालयों द्वारा किया जाता था जिससे ग्रामीणों को परेशानी होती थी
ऐसा नहीं है कि यह नियम सिर्फ ग्रामीण क्षेत्र के लिए ही शुरू किया गया है बल्कि इसे ग्रामीण और शहरी दोनों क्षेत्रों के लिए लागू किया गया है जिसके अनुसार आपको नागरिक पंचायत सचिव के पास जानकारी देना होगा और वहीं से सभी प्रमाण पत्र जारी किए जाएंगे
ग्रामीणों के लिए फायदेमंद साबित होगा यह फैसला
ग्रामीण क्षेत्र में रहने वाले निवासियों को सरकार की इस नए नियम से काफी फायदा होने वाला है जिसका कारण यह है कि वह बहुत ही आसानी से समय सीमा के अंदर ही न्यूनतम दस्तावेज के साथ अपने नगर पंचायत के द्वारा सभी जरूरी प्रमाण पत्र डिजिटल माध्यम से प्राप्त कर सकेंगे और उन्हें बार-बार सरकारी दफ्तर के चक्कर नहीं काटने पड़ेंगे जिससे कि ग्रामीण क्षेत्र में भी डिजिटल को बढ़ावा मिलेगा
सिर्फ इतना ही नहीं बल्कि सरकार यह भी चाहती है कि कि हर पंचायत स्तर पर ई-गवर्नेंस की प्रणाली विकसित की जाए ताकि सरकारी सेवाएं सभी व्यक्तियों तक समय पर पहुंचे जिसके लिए जन्म और मृत्यु प्रमाण पत्र इस दिशा में पहला कदम है सरकार ने जिस तरह से या नया नियम लागू किया है इसे यह भी अनुमान लगाया जा रहा है कि आने वाले भविष्य में राशन कार्ड, जाति प्रमाण पत्र, निवास प्रमाण पत्र आदि को भी इसी तरह डिजिटल किया जाएगा
फर्जीवाड़े और देरी से भी मिलेगी मुक्ति, होगा QR Code Verification
नए डिजिटल प्रमाण पत्र का सबसे बड़ा फायदा या होगा कि इसके अंदर क्यूआर कोड देखने को मिलेगा इससे कोई भी स्कूल, बैंक या सरकारी संस्था प्रमाण पत्र को स्कैन कर उसकी तुरंत या चेक किया जा सकेगा कि प्रमाण पत्र सरकार के द्वारा जारी किया गया है या फिर फर्जी
कई बार ऐसा होता है कि लोग दस्तावेज बनवाने के लिए अक्सर किसी एजेंसी या फिर एजेंट का सहारा लेते हैं ऐसी स्थिति में उन लोगों को डुप्लीकेट दस्तावेज मिल जाता है लेकिन इस तरह से नया नियम लागू होने के बाद जहां पर फर्जी वाले को रोकने में मदद मिलेगी वहीं पर लोगों को ओरिजिनल प्रमाण पत्र मिल सकेगा और कार के जरिए स्कैन करके तुरंत यह भी पता किया जा सकेगा कि यह पूरी तरह से ओरिजिनल है